चंडीगढ़ । अंतर्कलह और कांग्रेस लगता है कि एक दूसरे के पूरक हो चुके हैं अभी जबकि पंजाब का विवाद थमा नहीं है कि हरियाणा ने कांग्रेस नेतृत्व की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। हरियाणा में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी शैलजा के बीच टकराव बढ़ता जा रहा है। हुड्डा समर्थक विधायकों ने संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से मुलाकात कर कुमारी शैलजा को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद से हटाने की मांग की है।
संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से मुलाकात से पहले हुड्डा समर्थक विधायक और नेता उनके दिल्ली स्थित घर पर जुटे। वेणुगोपाल से मुलाकात के दौरान इन विधायकों ने कुमारी शैलजा को हटाकर हुड्डा को प्रदेश अध्यक्ष बनाने की मांग की। साथ ही कहा कि राज्य में संगठन बदलाव में विधायकों की भी राय ली जाए। पिछले सप्ताह 19 विधायकों ने प्रदेश प्रभारी विवेक बंसल से मुलाकात कर हुड्डा को अध्यक्ष बनाने की मांग की थी।
कांग्रेस के एक विधायक ने कहा कि नेतृत्व परिवर्तन पर हमने अपनी बात बता दी है। अब फैसला नेतृत्व को करना है। वहीं, विधायक कुलदीप वत्स ने कहा कि संगठन को मजबूत करने की जरूरत है। प्रदेश अध्यक्ष पर फैसला नेतृत्व का होगा। हरियाणा में कांग्रेस के 31 विधायक हैं। इनमें से 20 विधायक हुड्डा समर्थक माने जाते हैं। यह विधायक लगातार दबाव बना रहे हैं।
पुरानी है हुड्डा और शैलजा की लड़ाई
भूपेंद्र सिंह हुड्डा और कुमारी शैलजा की लड़ाई पुरानी है। इससे पहले भी कई बार दोनों नेता आपस में जोर आजमाइश कर चुके हैं। शैलजा के करीबी नेताओं का कहना है कि हुड्डा जानबूझकर ऐसा कर रहे हैं, क्योकि प्रदेश संगठन में परिवर्तन होने वाला है। हुड्डा को डर है कि उऩकी पकड़ कमजोर पड़ सकती है। इसलिए वह पार्टी नेतृत्व पर दबाव बना रहे हैं।