मोहाली: ग्रेटर मोहाली एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (गमाडा ) में तैनाती के दौरान पंजाब के कई अफसरों ने अपने पत्नियों के नाम पर करोड़ों का मुआवजा ले लिया। आरोपियों में फिरोजपुर के एक डीसी की पत्नी का भी नाम सामने आ रहा है। मिली जानकारी के मुताबिक उनके नाम पर एक करोड़ 17 लाख 56 हजार रुपए का मुआवजा ले लिया गया।अपनी तैनाती के दौरान उन्होंने अपनी पत्नी के नाम दो एकड़ जमीन का बाग बाकरपुर में दिखा मुवावजे की रकम हड़प ली।यहां आपको यह भी बताते चलें कि इस तरह की धोखाधड़ी का तरीका भी काफी अलग था।
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गमाडा में साल 2016 से 2020 के बीच बागवानी व राजस्व विभाग के अधिकारियों-कर्मचारियों की मिलीभगत के साथ फर्जी दस्तावेजों के आधार पर ज़मीन एक्वायर कर गलत तरीके से कुछ लोगो द्वारा करोड़ों का मुआवजा लिया गया। गमाडा के अधिकारियों को पता था कि कब और कौन सी जमीन एक्वायर की जानी है, ऐसे में वह लोग अपने सगे सम्बन्धियों के साथ ही अपनी पत्नियों के नाम पर पहले ही उन जगहों पर जमीन खरीदकर वहां अमरूद के बाग रिकॉर्ड में दिखा दिए । जिस समय जमीन एक्वायर करने का प्रोसेस हुआ था, उस समय राजेश धीमान नामक एक अधिकारी भी गमाडा में उच्च पद पर तैनात थे।
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चूंकि संबंधित विभाग के अफसर जानते थे कि सबसे जल्दी अमरूद का पौधा बड़ा होता है और अगले 20 साल तक मुआवजा मिलना तय है। ऐसे में फर्जी तरीके से कागजों में फर्जी इंद्राज कराकर 20 साल का बनता करोड़ों का मुआवजा हड़प लिया गया। जांच के बाद सरकार की तरफ से कराई गई एफआईआर के अनुसार, उक्त राजेश की पत्नी जसमीन के नाम 1.17 करोड़ रुपए का मुआवजा ले लिया गया। यह कोई अकेला उदाहरण नहीं है जिसमे फर्जी ढंग से मुवावजे की रकम हासिल की गई अपितु जिन लोगों ने फर्जी मुआवजा लिया, उनमें सीए, प्रॉपर्टी डीलर, गमाडा के कई अन्य अफसर भी शामिल है।