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न तार लगा न विजली का खम्भा ,विजली के मीटर उगल रहे विजली के बिल

डाला । कभी लोगों के मनोरंजन के लिए बॉलीबुड की बनी फिल्म बत्ती गुल मीटर चालू सोमभद्र के आदिवासियों के लिए हकीकत बन गयी है।क्या आपने कभी बिना बिजली तार के करेंट दौड़ते देखा है .. ? शायद आप चौंक गए होंगे । मगर यह कारनामा सोनभद्र बिजली विभाग ने कर दिखाया है । चोपन ब्लाक के परासपानी इलाका बिजली विभाग की करतूत को लेकर इन दिनों खासा चर्चा में है । दरअसल यहां के आदिवासी लोगों को उस वक्त बिजली विभाग का जोर का झटका धीरे से लगा जब जब बिना बिजली के ही विभाग उनके घरों में हजारों रुपये का बिजली बिल भेज दिया ।

बहरहाल सीएम योगी ने तो हार्डकोर अपराधियों को ठोकने की बात कही थी लेकिन सोनभद्र में तो बिजली विभाग ने आदिवासियों पर ही फर्जी बिजली बिल ठोंक दिया है । अब देखने वाली बात यह है कि इस फर्जी बिलिंग के लिए बिजली विभाग क्या दलील देता है। फ़िलहाल बिजली का बिल मिलते ही आदिवासियों के होश उड़ गए हैं। उन्हें समझ में नहीं आ रहा कि आखिर वे करें तो क्या ।फिर सोनभद्र के आदिवासी लोगो ने विजली गुल मीटर चालू फ़िल्म की ही तरह अपने अपने घरों पर विजली विभाग के लगे मीटर को उखाड़ कर जिलाधिकारी कार्यालय पर सैकड़ों की संख्या में प्रदर्शन किया और विजली विभाग व सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। ग्रामीणों ने बताया कि 2018 में सौभाग्य योजना से गांव में विद्युतीकरण कराया गया था , जिसके लिए प्राइवेट संस्था द्वारा सभी से आधार कार्ड लेकर घरों में मीटर लगाया गया था और कहा गया था कि जल्द ही आपके घरों में बिजली आ जायेगी ।

ग्रामीण कलावती , रघुनन्दन , रामसनेही , बुद्धू , सतवंती , मुखवंती , रामसुभग , पन्नालाल आदि ने बताया कि समय बीतता रहा लेकिन गांव में बिजली ही नहीं आयी । कई जगहों पर पोल गाड़ कर छोड़ दिया गया तो कुछ जगहों पर तो अभी तक पोल भी नहीं पहुंचा । जिससे ग्रामीणों के घर के बाहर लगा मीटर बेमतलब सा है ।

लेकिन ग्रामीणों को क्या पता था कि मीटर से ही उन्हें बिजली का ऐसा झटका लगने वाला है जिससे उनके होश उड़ जाएंगे । फिलहाल बिजली विभाग ने कलावती- 9500 / – रघनंदन 7413 / – , रामशनेही- 1559 / – , बुध्धु- 6012 / – , सतवंती 5855 / – , मुखवन्ति- 5881 / – , रामसुभग- 5990 / – , पन्नालाल 1560 / – , पूनम- 10967 / – , गुरुदयाल- 7735 / – , सूरज लाल 1604 / – , बाल सिंह- 1557 / – , लघपतिया- 5713 / – , रामदयाल 6299 / – , शकुंतला- 6267 / – राजबली- 6661 / – व राजेन्द्र प्रसाद को 8285 / – रुपये का बिजली बिल भेज कर भयंकर ठंड में भी पसीने छुड़वा दिया है । मजे की बात तो यह है कि गांव में बिजली ही नहीं है और बिजली बिल पर प्रत्येक माह में लगभग 30 यूनिट उपभोग दर्शाया गया हैआपको बतादें कि आदिवासियों की यह दुर्दशा तब है जब सीएम योगी ने आदिवासियों के उत्थान के लिए इसी जिले से एक आदिवासी मंत्री भी दिया हुआ है । गरीब आदिवासियों का कहना है कि सौभाग्य योजना उनके लिए तो दुर्भाग्य में बदल गयी है।

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