सोनभद्र । जनपद में 102,208 सहित अन्य एंबुलेंस सेवा की गाड़ियों को लाइन में खड़ी करके धरना – प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों की वजह से स्वास्थ्य सेवाओं पर बड़ा बुरा असर पड़ा है।आपको बताते चलें कि रविवार की रात से ही 102 , 108 और एडवांस लाइफ सपोर्ट ( एएलएस ) एंबुलेंस सेवा को कर्मचारियों ने बंद करने एलान कर दिया है। वह अपनी मांगें पूरी न होने पर धरना प्रदर्शन कर रहे हैं । जिले के एंबुलेंस कर्मचारी संघ के नेतृत्व में 23 जुलाई से जिला अस्पताल परिसर में विभिन्न मांगों को लेकर एंबुलेंस कर्मचारी सांकेतिक धरनारत हैं जिसकी वजह से मरीजों को अस्पताल और घर पहुंचने में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष अश्विनी पांडेय ने बताया कि “ एएलएस एंबुलेंस की कंपनी बदलने पर पुराने कर्मचारियों को न बदलने, एंबुलेंस कर्मचारियों को ठेका प्रथा से मुक्ति देने , कोरोना संक्रमण में दिवंगत एंबुलेंस कर्मचारियों के आश्रितों के परिवार को 50 लाख रुपये की सहायता राशि देने , नेशनल हेल्थ मिशन के तहत महंगाई भत्ता , चार घंटे का ओवरटाइम और प्रशिक्षण शुल्क के नाम पर कर्मचारियों से डिमांड ड्राफ्ट न लेने की मांग को लेकर सांकेतिक विरोध प्रदर्शन चल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन दिनों से सांकेतिक विरोध जताकर संघ अपनी मांगो के बाबत शासन को चेताया था , लेकिन शासन ने संघ की मांगों पर कोई विचार नही किया। मजबूरन रविवार की रात 12 बजे से 102 , 108 और एएलएस एंबुलेंस सेवा बंद करने का निर्णय लिया गया है ।
जिले में संचालित सभी 102 , 108 और एएलएस एंबुलेंस के पहिये रोक दिए गए हैं ।फिलहाल मरीजों को दिक्कत न हो उसके लिए 108 के 9 एम्बुलेंस को हड़ताल से मुक्त रखा गया है , इसके पायलट , ईएमटी ड्यूटी करेंगे । ” इससे पहले एंबुलेंसकर्मियों ने आज सुबह जिला अस्पताल परिसर में एम्बुलेंस खड़ा करके विरोध प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी की । हालांकि आज प्रदर्शन के दौरान कोरोना योद्धा कोविड प्रोटोकॉल का पूरी तरह उल्लंघन करते दिखे । प्रदर्शन के दौरान जहाँ सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियाँ उड़ाई गयी वहीं किसी के भी चेहरे पर मास्क नहीं दिखा ।