धागाकरण के लिए परासी पाण्डेय फार्म पर रीलिंग कार्य को किया जाये प्रारम्भ
सोनभद्र । जिलाधिकारी चन्द्र विजय सिंह ने आज रेशम कीट उत्पादन केन्द्र परासी पाण्डेय का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने सहायक निदेशक रेशम से कीट के माध्यम से रेशम के उत्पादन के सम्बन्ध में बिन्दुवार जानकारी ली ।

सहायक निदेशक रेशम द्वारा बताया गया कि फार्म हाउस पर अम्पतिया फसल का कीटपालन का कार्य हो रहा है। इस फसल का कीटपालन कार्य 20 जुलाई, 2022 से प्रारम्भ हुआ था, जिसका लगभग 80 प्रतिशत ककून बन कर तैयार हो गया। सहायक निदेशक रेशम द्वारा बताया गया कि इस ककून को बीजागार में संरक्षित कर अण्डा उत्पादन का कार्य किया जायेगा। अण्डा उत्पादन का कार्य 15 नवम्बर, 2022 तक पूर्ण होगा ।

सहायक निदेशक रेशम द्वारा बताया गया कि जनपद में कुल 25 रेशम फार्म हैं, जिनका कुल क्षेत्रफल 1266 एकड़ है, यह फार्म जनपद के विकास खण्ड दुद्धी, म्योरपुर, बभनी, कोन, चोपन, नगवां, घोरावल एवं राबर्ट्सगंज में स्थापित है।

रेशम विभाग में कीटपालन करने वाले लाभार्थी अनुसूचित जाति/जनजाति/अति पिछड़े वर्ग के हैं, इसके साथ ही विभाग द्वारा मटका धागा का कार्य दुद्धी फार्म पर महिलाओं द्वारा कराया जाता है।
इस दौरान जिलाधिकारी ने सहायक निदेशक रेशम को निर्देशित करते हुए कहा कि धागाकरण के लिए परासी पाण्डेय फार्म पर रीलिंग कार्य को भी प्रारम्भ किया जाये, जिससे कि क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों/रेशम कार्य को करने के लिए इच्छुक व्यक्ति को एक ही जगह पर टसर रेशम कीटपालन, कोया उत्पादन, अण्डा उत्पादन, धागा उत्पादन का कार्य देखने को मिल सके।
